राशि चक्र का छठी राशि है कन्या राशि। कन्या राशि वाले स्वभाव से विनम्र और मृदुभाषी होते हैं। मुश्किल समय आने पर इस राशि के लोग पहले घबरा जाते हैं लेकिन फिर स्वयं को संभालकर विपरीत स्थिति पर नियंत्रण पाने की कोशिश करते हैं।
इस वर्ष अपने परिश्रम के बल पर आप अपने कार्यक्षेत्र में सफलता प्राप्त करेंगे। सप्तम भाव में राहु का प्रभाव आपके व्यवसाय में उतार चढ़ाव के योग बना रहा है। अतः इस समय अंतराल में आप कोई नया व्यापार प्रारंभ ना करें। आप नए उत्साह से अपने कार्य तथा व्यवसाय को अच्छी गति दे पाएंगे। इस वर्ष शनि का गोचर षष्टम भाव में रहेगा, शनि की उपस्थिति आपको किसी भी प्रतिस्पर्धा में विजयी बनाएगी।
चतुर्थ एवं द्वितीय भाव पर बृहस्पति की दृष्टि के प्रभाव से आपके परिवार में सुख शांति का वातावरण बना रहेगा। आपको परिवार का सहयोग प्राप्त होगा। सप्तम भाव में राहु की उपस्थिति आपके जीवनसाथी के स्वास्थ्य में समस्याएं उत्पन्न कर सकता है। इस वर्ष के अप्रैल महीने तक संतान की शिक्षा व स्वास्थ्य के मामले में सतर्क रहें। अप्रैल के बाद का समय आपके लिए शुभ है। आपके बच्चों का भाग्योदय होगा तथा वो शिक्षा में बेहतर करेंगे। नवविवाहित व्यक्तियों के लिए संतान प्राप्ति की संभावनाएं भी बनेगी।
अष्टम भाव में बृहस्पति तथा लग्न स्थान पर राहु की दृष्टि के कारण आपके स्वास्थ्य में इस वर्ष उतार-चढ़ाव की स्थिति बनी रहेगी। यदि आपको पहले से कोई बीमारी है तो सावधानी की अधिक आवश्यकता रहेगी। मई महीने से बृहस्पति की पंचम दृष्टि प्रभाव से आपके स्वास्थ्य में सुधार होगा। आपकी मानसिक स्थिति बेहतर होगी। आपकी राशि में केतु की उपस्थिति के प्रभाव से धार्मिक कृतियों में रुचि बढ़ेगी जिससे आप मानसिक रूप से संतुष्ट और शारीरिक रूप से स्वस्थ महसूस करेंगे।
इस वर्ष आपो अप्रैल महीने तक पैतृक संपत्ति के साथ-साथ परिवार का विश्वास भी प्राप्त होगा। मई महीने से नवम भाव में उपस्थित बृहस्पति आर्थिक उन्नति के लिए शुभ सिद्ध होगा। बृहस्पति ग्रह का गोचर अनुकूल होने के कारण आपको धन लाभ होगा। षष्टम भाव में शनि ग्रह का गोचर विदेश से धन कमाने की संभावनाएं प्रदान कर सकता है। इस वर्ष आपके लिए आय के नए श्रोत बनने की संभावना होगी।
प्रतियोगिता परीक्षा के लिए यह वर्ष शुभ रहेगा। षष्टम भाव में शनि के प्रभाव से आप प्रतियोगिता परीक्षाओं में सफलता प्राप्त करेंगे। यदि आप विदेश जाकर उच्च शिक्षा प्राप्त करना चाहते हैं तो इस वर्ष आपकी या इच्छा पूरी हो सकती है। इस राशि पर केतु के प्रभाव और उनके पंचम भाव पर केतु की दृष्टि के कारण अगर आप आध्यात्मिक शिक्षा के लिए प्रयासरत हैं तो इस वर्ष आपको सफलता मिलेगी।
गुरुवार के दिन का उपवास रखें तथा पिली वस्तुओं का दान करें।